White Discharge Causes : महिलाओं की सेहत से जुड़ी कई छोटी-छोटी बातें अक्सर नज़रअंदाज कर दी जाती हैं, जिनमें से एक है व्हाइट डिस्चार्ज यानी योनि से निकलने वाला सफेद रंग का तरल पदार्थ।
मेडिकल भाषा में इसे ल्यूकोरिया (Leucorrhoea) कहा जाता है। सामान्य तौर पर यह शरीर की नैचुरल प्रक्रिया है, जो वेजाइना को साफ और मॉइस्चराइज रखने में मदद करती है।
लेकिन जब इसका रंग, मात्रा या गंध असामान्य हो जाए, तो यह किसी गंभीर इंफेक्शन या हेल्थ इश्यू का संकेत भी हो सकता है।
व्हाइट डिस्चार्ज क्या है?
वेजाइना से निकलने वाला सफेद, हल्का पीला या कभी-कभी ग्रे रंग का चिपचिपा तरल पदार्थ व्हाइट डिस्चार्ज कहलाता है। यह शरीर से डेड सेल्स और बैक्टीरिया को बाहर निकालने में मदद करता है।
हर महिला में इसका रंग और मात्रा अलग-अलग हो सकती है। आमतौर पर यह पीरियड्स से पहले या ओवुलेशन के समय ज्यादा होता है।
परंतु जब यह लगातार बना रहे, बदबूदार हो या इसके साथ खुजली, जलन और कमजोरी जैसी परेशानियां दिखें, तो इसे इग्नोर करना गलत हो सकता है।
व्हाइट डिस्चार्ज के मुख्य कारण
हार्मोनल बदलाव – प्रोजेस्टेरोन हार्मोन बढ़ने से डिस्चार्ज में परिवर्तन आ सकता है।
पोषक तत्वों की कमी – डाइट में आयरन, फोलिक एसिड या विटामिन्स की कमी भी इसका कारण बन सकती है।
वेजाइनल इंफेक्शन – बैक्टीरियल या फंगल इंफेक्शन से सफेद डिस्चार्ज बढ़ सकता है।
तनाव और थकान – लगातार स्ट्रेस से शरीर के हार्मोनल बैलेंस पर असर पड़ता है।
गंदी सफाई या तंग कपड़े – हाइजीन की कमी या नॉन-ब्रीदेबल अंडरगारमेंट्स पहनने से इंफेक्शन का खतरा बढ़ जाता है।
व्हाइट डिस्चार्ज के लक्षण
- डिस्चार्ज में बदबू आना
- वेजाइना में खुजली या जलन
- पेशाब करते समय दर्द या जलन
- कमर दर्द और थकान महसूस होना
- फिजिकल रिलेशन के बाद जलन या असुविधा
अगर ये लक्षण बार-बार दिखें, तो यह सिर्फ साधारण डिस्चार्ज नहीं बल्कि वेजाइनल इंफेक्शन, गोनोरिया या सर्वाइकल प्रॉब्लम का संकेत हो सकता है।
लंबे समय तक इग्नोर करने पर यह स्थिति सर्वाइकल कैंसर, यूटेरस इंफेक्शन या पेल्विक इंफ्लेमेटरी डिजीज जैसी समस्याओं का कारण बन सकती है। इसलिए इस समस्या को “सामान्य” समझकर अनदेखा करना ठीक नहीं है।
घरेलू और सरल उपचार
फिटकरी पानी से वॉश करें – यह बैक्टीरिया को खत्म करने में मदद करता है।
मेथी के दाने का पानी – रोज़ाना खाली पेट पीने से हार्मोनल बैलेंस सुधरता है।
दही का सेवन करें – इसमें मौजूद प्रोबायोटिक्स इंफेक्शन से बचाते हैं।
नीम की पत्तियों का उबला पानी – वेजाइनल क्लीनिंग के लिए असरदार है।
तनाव कम करें और पर्याप्त नींद लें – इससे हार्मोनल संतुलन बना रहता है।
रोकथाम के आसान उपाय
कॉटन की ब्रीदेबल अंडरगारमेंट्स पहनें। रोज़ाना सफाई और हाइजीन का ध्यान रखें।
हाइड्रेशन बनाए रखें, ज्यादा पानी पिएं। अत्यधिक परफ्यूम या केमिकल वॉश का उपयोग न करें। लंबे समय तक गीले कपड़े न पहनें।
कब करें डॉक्टर से संपर्क
अगर व्हाइट डिस्चार्ज गाढ़ा, पीला, भूरे रंग का हो या उसमें तेज गंध हो, साथ ही कमजोरी या चक्कर जैसा महसूस हो, तो तुरंत गाइनेकोलॉजिस्ट से सलाह लें। सही समय पर जांच और इलाज से इस समस्या का समाधान पूरी तरह संभव है।
व्हाइट डिस्चार्ज अपने आप में कोई बीमारी नहीं है, लेकिन इसके लक्षणों को नज़रअंदाज करना बड़ी समस्या को जन्म दे सकता है।
समय रहते सही जांच, संतुलित आहार और हाइजीन बनाए रखना इस परेशानी से बचने की सबसे अच्छी कुंजी है।
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